Sunday, September 25, 2011

Hindi Section
24 Sep 2011, NewAgeIslam.Com
पैग़म्बरे इस्लाम के जीवन का अध्ययनः वर्तमान समय की आवश्यकता

आदिल सिद्दीक़ी (उर्दू से हिंदी अनुवाद- समीउर रहमान, न्यु एज इस्लाम डाट काम)

हज़रत रसूले पाक (...) की ज़िंदगी और तालीमात इसांन के जन्म से लेकर मृत्यु तक उसको राह दिखाती है।मदरसों के तालिबे इल्म इस्लाम के चिंतक बनकर उनकी शिक्षाओं को हर खास और आम तक पहुँचाएं तो इस धरतीका नक्शा ही बदल जाए और इस्लाम को लेकर जो गतलफहमियाँ हैं उनको दूर किया जा सके। ऐसी हालत में जबकिकुछ इतिहासकार इसकी छवि बिगाडने की कोशिश कर रहे हैं। इस गलतफहमी को दूर किया जा सकता है कि इस्लामप्रचार के ज़रिए फैला है कि तलवार के ज़रिए। --आदिल सिद्दीक़ी (उर्दू से हिंदी अनुवाद- समीउर रहमान, न्यु एजइस्लाम डाट काम)

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